Uttarakhand
हमारी नहीं सुनते अफसर, जनता को क्या जवाब दें? पंचायत बैठक में फूटा सदस्यों का गुस्सा

देहरादून जिला पंचायत की बैठक में बुधवार को विभिन्न विभागों के अफसरों द्वारा जनहित एवं विकास कार्यों में बरती जा रही लेटलतीफी पर सदस्यों का गुस्सा फूटा। सदस्यों ने अफसरों के सामने ही उनकी लापरवाही की पोल खोली। कहा कि अफसर उनकी नहीं सुनते।
देहरादून जिला पंचायत की बैठक में बुधवार को विभिन्न विभागों के अफसरों द्वारा जनहित एवं विकास कार्यों में बरती जा रही लेटलतीफी पर सदस्यों का गुस्सा फूटा। सदस्यों ने अफसरों के सामने ही उनकी लापरवाही की पोल खोली। कहा कि अफसर उनकी नहीं सुनते, ना ही उन्हें कार्यों की जानकारी दी जाती। जनता उनसे पूछती है, वह क्या जवाब दें? अध्यक्ष मधु चौहान एवं सीडीओ अभिनव शाह ने विभागों को सुधार की हिदायत दी।
अपर मुख्य अधिकारी गणेश भट्ट भी मौजूद रहे। समाज कल्याण विभाग से एक अपर समाज कल्याण अधिकारी के आने पर अध्यक्ष मधु चौहान ने पूछा कि समाज कल्याण अधिकारी कहां है, वह पिछली मीटिंग में भी नहीं आईं। फोन पर ऐसे बात करती हैं, जैसे अहसान कर रही हो। अपर समाज कल्याण को बाहर जाने के लिए कह दिया। जाते वक्त उन्हें वापस बुलाया गया और उन्होंने योजनाओं की जानकारी दी।
ब्लाक प्रमुख मटूर सिंह, सदस्य प्रशांत कुमार बोले, उरेड़ा के काम पेटी ठेकेदार कर रहे हैं। सोलर लाइटों में अनियमितता बरती जा रही है। गांवों में चार दिन में लाइट बंद हो जाती है। मजाक उड़ाया जाता है। प्रशांत कुमार, बीर सिंह, दिव्या बेलवाल, पूजा रावत आदि ने अपने अपने क्षेत्रों में सड़कों के मुद्दे उठाए और पीडब्ल्यूडी विभाग से नाराजगी जताई। धर्मावाला, लांघा रोड पर लगातार हादसे हो रहे हैं।
खाद्य आपूर्ति विभाग से राष्ट्र खाद्य सुरक्षा योजना में नाम नहीं जुड़ने एवं उज्ज्वला योजना में आवेदन नहीं होने की समस्या उठाई। स्वास्थ्य विभाग से अस्पतालों में सेवाओं को इलाज, दवा एवं जांच को दुरुस्त करने की मांग की। जिला पंचायत सदस्य प्रशांत कुमार बोले, महिला और बाल विकास विभाग द्वारा आंगनबाड़ी केंद्र बनाने में लंबा समय लगा दिया गया हैं। अब तो कई बनने से पहले ही जर्जर अवस्था में पहुंच गए हैं। एक अधिकारी बोले, पहले सात लाख बजट था, अब डिमांड 13 लाख हो गई हैं। 16 भवन अधूरे हैं।