Chhattisgarh

छत्तीसगढ़ के डीएमएफ घोटाले में ईडी की कार्रवाई, एक महिला अधिकारी को किया गिरफ्तार

Published

on


छत्तीसगढ़ में प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने जिला खनिज न्यास (DMF) घोटाले के मामले में राज्य सरकार की एक महिला अधिकारी को गिरफ्तार किया। इस बारे में ईडी के वकील सौरभ पांडेय ने जानकारी देते हुए बताया कि आदिवासी और अनुसूचित जाति विकास विभाग में तैनात माया वारियर को मंगलवार को गिरफ्तार कर बुधवार को रायपुर की पीएमएलए (धन शोधन निवारण अधिनियम) अदालत में पेश किया गया।

पांडेय ने बताया कि कथित घोटाले के संबंध में यह पहली गिरफ्तारी है। उन्होंने बताया कि अदालत ने वारियर को 22 अक्टूबर तक ईडी की हिरासत में भेज दिया है।

ईडी के वकील ने बताया, ‘हमने डीएमएफ मामले में रानू साहू को पेशी वारंट पर पेश करने का अनुरोध करते हुए अदालत में एक अर्जी दाखिल की थी लेकिन जेल अधिकारियों ने बताया कि उन्हें कुछ मेडिकल जटिलताएं हैं।’ साहू निलंबित आईएएस अधिकारी हैं, जो राज्य के भ्रष्टाचार निरोधक ब्यूरो द्वारा दर्ज कथित कोयला घोटाले के मामले में न्यायिक हिरासत में हैं।

पांडेय ने बताया, ‘हमने गुरुवार को फिर से उन्हें पेश करने का अनुरोध किया है।’ उन्होंने बताया कि ईडी की जांच में सामने आया कि रायगढ़ और कोरबा जिलों में जिलाधिकारी के रूप में रानू साहू के कार्यकाल के दौरान डीएमएफ में कथित अनियमितताएं की गईं (राज्य में पिछली कांग्रेस सरकार के दौरान) और उन्हें डीएमएफ के तहत काम आवंटित किए गए ठेकेदारों से भारी रिश्वत मिली।

पांडेय ने बताया, ‘जब साहू कोयला समृद्ध क्षेत्रों में कलेक्टर थीं तब वारियर को संबंधित विभाग में तैनात किया गया था और डीएमएफ में अनियमितताओं को बढ़ावा दिया गया।’ एजेंसी ने इस मामले में एक मार्च को राज्य में 13 स्थानों पर छापेमारी की थी और डिजिटल व कागजी दस्तावेजों के अलावा लगभग 27 लाख रुपए नकद जब्त किए थे।

डीएमएफ खनिकों द्वारा वित्तपोषित एक ट्रस्ट है, जिसे राज्य के सभी जिलों में खनन से संबंधित परियोजनाओं और गतिविधियों से प्रभावित लोगों के फायदे के लिए काम करने के उद्देश्य से स्थापित किया गया था। ईडी ने पिछले वर्ष इस मामले की जांच शुरू की थी।



Source link

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Exit mobile version