Uttarakhand
उत्तराखंड बीजेपी में नई संगठनात्मक टीम का ऐलान, 42 चेहरों को सौंपी गई बड़ी जिम्मेदारी!

देहरादून: उत्तराखंड बीजेपी ने अपनी संगठनात्मक टीम में बड़ा फेरबदल किया है। आगामी 2027 विधानसभा चुनावों को देखते हुए पार्टी ने मोर्चों और विभागों में 42 नेताओं को अहम जिम्मेदारियां सौंपी हैं। यह बदलाव प्रदेश अध्यक्ष महेंद्र भट्ट के नेतृत्व और निर्देश पर किया गया है।
दीप्ति रावत, कुंदन परिहार और तरुण बंसल बने महामंत्री
नई टीम में तीन नेताओं को प्रदेश महामंत्री की जिम्मेदारी दी गई है:
दीप्ति रावत (पौड़ी गढ़वाल)
कुंदन परिहार (बागेश्वर)
तरुण बंसल (नैनीताल)
ये तीनों संगठन के भीतर लंबे समय से सक्रिय हैं और पार्टी की युवा और अनुभवी पीढ़ी का संतुलन बनाते हैं।
प्रदेश उपाध्यक्ष पद की जिम्मेदारी 8 नेताओं को
इन नेताओं को प्रदेश उपाध्यक्ष की कमान सौंपी गई है:
अनिल गोयल (देहरादून महानगर)
राजेंद्र सिंह बिष्ट (नैनीताल)
श्रीपाल राणा (उधम सिंह नगर)
आशा नौटियाल (केदारनाथ विधायक, रुद्रप्रयाग)
यतीश्वरानंद (पूर्व विधायक, हरिद्वार ग्रामीण)
शैलेंद्र सिंह बिष्ट (कोटद्वार)
राकेश गिरी (रुड़की)
स्वराज विद्वान (उत्तरकाशी)
8 नए प्रदेश मंत्री भी बनाए गए
इन नेताओं को प्रदेश मंत्री की जिम्मेदारी मिली:
सतीश लखेड़ा (चमोली)
आदित्य चौहान (देहरादून महानगर)
नलिन भट्ट (टिहरी गढ़वाल)
दीपिका बोहरा (पिथौरागढ़)
नेहा जोशी (देहरादून महानगर)
गुंजन सुखीजा (काशीपुर)
निर्मल मेहरा (चंपावत)
गौरव पांडे (अल्मोड़ा)
अन्य अहम नियुक्तियां
पुनीत मित्तल – प्रदेश कोषाध्यक्ष (देहरादून महानगर)
साकेत अग्रवाल – सह कोषाध्यक्ष (नैनीताल)
जगमोहन रावत – कार्यालय सचिव (कोटद्वार)
कौस्तुभानंद जोशी – प्रकोष्ठ संयोजक (नैनीताल)
सचिन अग्रवाल – प्रकोष्ठ सह संयोजक (हरिद्वार)
सुरेश जोशी – मुख्य प्रवक्ता (पिथौरागढ़)
मनवीर सिंह चौहान – मीडिया प्रभारी (उत्तरकाशी) – तीसरी बार नियुक्ति
सोशल मीडिया और आईटी टीम को भी मिला नया चेहरा
हिमांशु संगतानी – सोशल मीडिया संयोजक
करुण दत्ता, गौरव सिंह, गंधार अग्रवाल, लाल सिंह कोरंगा – सोशल मीडिया सह संयोजक
प्रवीण लेखवार – प्रदेश आईटी संयोजक
विनय गोयल, राजेंद्र नेगी, प्रदीप जनौटी, विकास तिवारी – मीडिया सह संयोजक
भविष्य की रणनीति का संकेत?
इस पूरी नियुक्ति सूची को देखकर साफ है कि बीजेपी ने क्षेत्रीय संतुलन, अनुभव और युवा नेतृत्व, और टेक्नोलॉजी फ्रंट को ध्यान में रखते हुए टीम बनाई है। माना जा रहा है कि यह संगठनात्मक बदलाव 2027 विधानसभा चुनावों की रणनीतिक तैयारी का एक हिस्सा है।