Uttarakhand
बेरोजगारों को 9 लाख सरकारी नौकरी के मौके, इन विभागों में होंगी बंपर भर्तियां
उत्तराखंड ने वर्ष 2030 तक कृषि, बागवानी, शिक्षा, स्वास्थ्य आदि विभिन्न सेक्टर में आठ से नौ लाख रोजगार के नए अवसर सृजित करने का लक्ष्य रखा है। शनिवार को सचिवालय के वीर चंद्र सिंह गढ़वाली सभागार में राज्य के अफसरों ने नीति आयोग आयोग के उपाध्यक्ष सुमन बेरी के सामने भविष्य की रणनीति का खाका पेश किया।
वर्ष 2027 तक राज्य ने अपनी जीएसडीपी को दोगुना करने का टारगेट तय किया है। बैठक में सचिव नियोजन आर. मीनाक्षीसुंदरम ने राज्य की तैयारियों पर विस्तार से प्रजेंटेशन दिया। उन्होंने बताया कि राज्य की प्रति व्यक्ति आय और विकास दर राष्ट्रीय औसत से हमेशा अधिक रही है।
अब सशक्त उत्तराखंड के तहत वर्ष 2027 तक जीएसडीपी को दोगुना करने का लख्य रखा गया है। इसी प्रकार वर्ष 2030 तक प्रदेश में विभिन्न सेक्टर में आठ से नौ लाख रोजगार के नए अवसर सृजित करने का लक्ष्य रखा गया है।
अपर मुख्य सचिव आनंद वर्द्धन ने राज्य के 60 फीसदी से अधिक क्षेत्र के वनाच्छादित होने का उल्लेख करते हुए कहा कि वन संपदा के जरिए उत्तराखंड न केवल देश बल्कि विश्व को पर्यावरणीय सेवाएं दे रहे हैं। लेकिन इसकी वजह से राज्य के विकास पर भी असर पड़ता है। इसलिए उत्तराखंड को उसकी पर्यावरणीय सेवाओं के लिए विशेष प्रतिपूर्ति दी जानी चाहिए।
नदी जोड़ो परियोजना के लिए मांगी आर्थिक सहायता
मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य में हिम आधारित नदियों को वर्षा आधारित नदियों से जोडने की एक महत्वाकांक्षी परियोजना पर कार्य कर रही है। इसके परिणाम गेम चेंजर होंगे। इस परियोजना के लिए अधिक धनराशि की आवश्यकता है।
फ्लोटिंग आबादी का विषय उठाते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि उत्तराखण्ड की जनसंख्या करीब सवा करोड़ हैं। लेकिन धार्मिक व सामान्य पर्यटन की वजह से हर साल 10 गुना अधिक लोग उत्तराखंड आवाजाही करते हैं। इस फ्लोटिंग आबादी के लिए आवश्यक बुनियादी संसाधन जुटाने के लिए भी राज्य को अतिरिक्त सहायता की आवश्यकता है।
न्याय विभाग की राय से आरक्षण पर होगा फैसला
देहरादून। उत्तराखंड में ब्याही दूसरे राज्यों की युवतियों को बेसिक शिक्षक भर्ती में आरक्षण का लाभ देने का मामले में सरकार न्याय विभाग की राय ले रही है। कार्मिक विभाग और समाज कल्याण ने इस इस संबंध में अपना परामर्श दे दिया है, लेकिन अंतिम निर्णय के लिए न्याय विभाग से राय लेने का सुझाव दिया है।
वर्तमान में जारी बेसिक शिक्षक भर्ती में 52 ऐसी युवतियां भी शामिल हैं जो मूल रूप से यूपी, हरियाणा, मध्यप्रदेश से हैं। लेकिन उनका विवाह उत्तराखंड में हुआ है। इन्हें ज्वाइन नहीं कराया गया है। शिक्षा निदेशालय ने इस मामले में शिक्षा सचिव से दिशानिर्देश मांगे हैं।